सूतल बाडS जागल बाड़S, सुनेल कि नाही
देस के दरद भईया बूझेलS की नाही ?
1
बहान भूई हार केहू कायथ कहाता
छत्री के कूरी भाला गइले गानाता
बैस रोजगरिहा बनल बाड़े बनिया
सूद्रो में कमकर तीत्र्प्रर त्र्प्रा नोनिया
एक ही में एताना विभेद भला चाही
देस के दरद भइया बूझेलS कि नाही ?
2
केहू बाटे हिन्दू, मुसुरमान त्र्प्रा इसाई
केहू बाटे सिक्का केहू पारसी मुसाई
एक ही बाटे सिक्ख केहू पारसी मुसाई
एक ही तS देस के सपूत भाई भाई
त्र्प्रापूस में फेरु काहे करेले लड़ाई
भाई संगे भाई के तS चाही गलवाही
देस के दरद भइया बूझे की नाही
3
केहू बनल जातिगर केहू तS त्र्प्रछत बा
त्र्प्रादिमी के त्र्प्रादिमी बनल जमदूत बा
बरम्हा के चारू त्र्प्रग चारू मजबूत बा
तोहरा के घइले कवन त्र्प्रस भूत बा
एक ही तS देहि के हS चारू परछांही
देस के दरद भइया बूझेकS कि नाही ?
4
एताना विकास में तS दाम गलल जाता
गंवे गवे देस के सरूप बदलल जाता
मूढ़वन का देखS तानी कुछ ना बुझाता
खाली गारी, झगारा त्र्प्रा झउरा नाघाता
उनहू का कुछ तS मदति कइल चाही
देस के दरद भइया बूझेलS कि नाही ?
5
धरती पित्र्प्रसली बा पानी पित्र्प्रादS
गंवंई का मंडई में बिजुली जरादS
जनता भूखाइली बा त्र्प्रान्न उपजादS
लइकन नित्र्प्रर लइकनियो पढ़ादS
त्र्प्राघा घर देवकुरी त्र्प्राघा भरसाइ नानू चाही
देस के दरद भइया भूझेलS कि नाही ?
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